"Sikander Movie Full Story Explained – सलमान खान की धमाकेदार एंट्री और पावरफुल एक्शन का तूफान!" Script/synopsis/transcript
"Sikander Movie Full Story Explained – सलमान खान की धमाकेदार एंट्री और पावरफुल एक्शन का तूफान!" Script/synopsis/transcript
तो हमारे चैनल की एक बिल्कुल ही नई वीडियो के अंदर आप सभी का स्वागत है आज हम जिस मूवी के बारे में बात करने वाले हैं उस मूवी का नाम है सिकंदर तो इस मूवी की स्टार्टिंग होती है एक एरोप्लेन से जो एरोप्लेन मुंबई से फ्लाई करके गुजरात के राजकोट जा रहा होता है अब इसी एरोप्लेन के अंदर हम एक्टर प्रतीक पाटिल को देखते हैं जिनका इस मूवी के अंदर अर्जुन नाम होता है यहां इस प्लेन के अंदर अर्जुन कई सारे गार्ड्स के साथ घुसा होता है और हमें ये पता लग जाता है कि ये अर्जुन एक काफी रिच और एक पावरफुल इंसान है अब इस फ्लाइट के अंदर अर्जुन जिस सीट पर बैठता है उसके बगल वाली सीट पर एक लेडी बैठी होती है जो कि वहां पर अपने बच्चे के साथ होती है लेकिन जब अर्जुन उस लेडी को देखता है तब उसे ये याद आता है कि उस लेडी को उसने शायद से कहीं पर देखा हुआ है और इसलिए जब उस लेडी के बारे में वो अपने फोन में सर्च करता है तब जाकर उसे ये पता लगता है कि उसके बगल में बैठी हुई लेडी आज से काफी साल पहले एडल्ट मूवीज के अंदर काम करती थी और फिर इसीलिए जैसे अर्जुन इस बात को जानता है वैसे ही वो इस बात को बताकर उस लेडी को हैरेस करने लगता है एंड उसके साथ काफी बदतमीजी करता है लेकिन फिर दोस्तों यहीं पर ही एंट्री होती है मूवी के मेन एक्टर सलमान खान की जिनका इस मूवी के अंदर नाम होता है संजय राजकोट असल में सलमान खान यानी कि संजय राजकोट भी इसी प्लेन में ट्रेवल कर रहा होता है और इसीलिए जब वो अर्जुन को लेडी को छेड़ते हुए देखता है तब वो सीधा अर्जुन के पास आता है एंड उसे बहुत बुरी तरह से पीटता है साथ ही जब अर्जुन के गार्ड्स आते हैं तो संजय राजकोट उन गार्ड्स को भी पीटता है और फिर ये सब करने के बाद वो उस लेडी से अर्जुन को माफी भी मंगवाते है लेकिन अब इसके बाद ही सीन शिफ्ट होता है और अगले सीन के अंदर हम साउथ एक्टर सत्यराज को देखते हैं जो कि इस मूवी के अंदर मुंबई शहर के काफी बड़े मिनिस्टर हैं अब यहां पर हम ये देखते हैं कि सत्यराज को अपने बेटे अर्जुन से काफी ज्यादा प्यार होता है और इसीलिए जैसे ही उसे पता चला होता है कि एक उड़ती हुई प्लेन में उसके बेटे को किसी ने पीट दिया है वैसे ये बात सुनकर उसे बहुत ज्यादा गुस्सा आता है एंड इसीलिए वो अपने आदमियों को ये ऑर्डर्स देता है कि वो लोग सीधा हरियाणा के एक इंस्पेक्टर से जिसका नाम इंस्पेक्टर प्रकाश है उससे कांटेक्ट करें एंड उस इंस्पेक्टर से ये कहे कि जिसने भी उसके बेटे को मारा है वो उसे पकड़कर जान से मार मार दें क्योंकि कोई आदमी उसके बेटे पर हाथ उठाए इस बात को वो बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं करेगा अब दोस्तों इसके अगले सीन में हम सीधा हरियाणा के उसी इंस्पेक्टर को देखते हैं जिसका नाम इंस्पेक्टर प्रकाश है और यहां पर इंस्पेक्टर प्रकाश को जैसे मिनिस्टर के ऑर्डर्स मिलते हैं वैसे ही वो अपने पुलिस स्टेशन के अंदर से जल्दी से एरोप्लेन के पैसेंजर्स की डिटेल्स निकालता है जिसके बाद ही उसे पता चल जाता है कि मिनिस्टर के बेटे अर्जुन को पीटने वाला और कोई नहीं बल्कि संजय राजकोट है और फिर संजय राजकोट का नाम पता चलते ही वो जल्दी से उसका एड्रेस निकालता है जो एड्रेस गुजरात के राजकोट शहर का होता है और फिर इसीलिए वो इंस्पेक्टर अपनी टीम लेता है और सीधा राजकोट जाता है राजकोट पहुंचने के बाद वो ये देखता है कि जहां का उसके पास एड्रेस है वो असल में एक महल है और उस महल के अंदर जाने के बाद उसे पता लगता है कि असल में सलमान खान यानी कि संजय राजकोट कोई छोटा आदमी नहीं है बल्कि वो इस पूरे राजकोट शहर का राजा है और ये पूरा का पूरा महल भी उसी का है इसके साथ ही उसने राजकोट शहर के अंदर काफी सारे भले काम किए हैं एंड इसलिए पूरे राजकोट की जनता भी उससे बहुत प्यार करती है लेकिन अब क्योंकि इंस्पेक्टर प्रकाश को संजय राजकोट को अरेस्ट करना होता है इसीलिए वो इन सारी बातों को इग्नोर करता है और सीधा महल के अंदर चला जाता है अंदर आकर उसकी मुलाकात संजय राजकोट की वाइफ से होती है यानी कि इस महल की रानी से और यहां हमें पता लगता है कि संजय राजकोट की वाइफ और कोई नहीं बल्कि एक्ट्रेस रश्मिका मंडाना है जिनका नाम मूवी के अंदर सायश्री होता है यहां पर इंस्पेक्टर प्रकाश यहां की रानी साई श्री से कहता है कि वो उनके पति को यानी कि यहां के राजा संजय राजकोट को अरेस्ट करने आए हैं बट यह बात सुनकर सायश्री उससे कहती है कि संजय राजकोट को पहले से ही पता चल चुका था कि वो लोग उसे अरेस्ट करने आए हैं और इसीलिए वो इंस्पेक्टर प्रकाश की आसानी के लिए पास के पुलिस स्टेशन में चले गए हैं ये बात सुनकर इंस्पेक्टर प्रकाश अपनी टीम लेकर वापस निकलने जाता है बट वो जैसे ही अपनी टीम के साथ महल से बाहर निकलता है वैसे ही वो ये देखता है कि संजय राजकोट के महल के बाहर पूरे राजकोट की जनता खड़ी है और जिन पुलिस की गाड़ियों से वो लोग यहां पर आए थे उन सारी गाड़ियों को जनता ने तोड़ दिया आ है और यह सब इसीलिए क्योंकि यहां की सारी जनता अपने राजा संजय राजकोट से बहुत प्यार करती है जिस वजह से वो लोग उसे अरेस्ट होता हुआ नहीं देख सकते हैं अब ये सारी चीजें देखकर इंस्पेक्टर प्रकाश के साथ ही काफी डर जाते हैं लेकिन ये देखकर सायश्री उन पुलिस वालों को अपनी गाड़ी देती है और अपनी गाड़ी के जरिए सभी पुलिस वालों को पुलिस स्टेशन पहुंचा देती है पुलिस स्टेशन आने के बाद ही इंस्पेक्टर प्रकाश ये देखता है कि संजय राजकोट पहले से ही पुलिस स्टेशन में बैठा है लेकिन उसी पुलिस स्टेशन के अंदर उसके बहुत सारे सीनियर्स भी आए होते हैं एंड उसके सारे पुलिस सीनियर्स उसे ये समझाते हैं कि इंस्पेक्टर प्रकाश ने संजय राजकोट के घर जाकर बहुत बड़ी गलती की है क्योंकि संजय राजकोट इस पूरे राजकोट का राजा जाए इसीलिए बिना पूछे उसके महल के अंदर जाना ये कोई छोटी बात नहीं है और इसीलिए वो लोग उसे समझा रहे हैं कि इंस्पेक्टर प्रकाश ऐसी गलती दोबारा ना करें अब इसके बाद ही संजय राजकोट को यहां से जाने दिया जाता है लेकिन जाने से पहले इंस्पेक्टर प्रकाश संजय राजकोट से कहता है कि संजय राजकोट ने मुंबई के बहुत ही बड़े मिनिस्टर के बेटे को मारा है और उसके पास डायरेक्ट मिनिस्टर के ऑर्डर्स हैं इसीलिए आज तो वो संजय राजकोट को यहां से जाने दे रहा है लेकिन आज नहीं तो कल वो उसे जान से मार के रहेगा लेकिन यहां पर संजय राजकोट इंस्पेक्टर की बात को इग्नोर करता है और वो वहां से चला जाता है हालांकि दोस्तों यहीं पर हम ये देखते हैं कि संजय राजकोट के कई सारे साथी भी होते हैं जो कि बेसिकली संजय राजकोट के गार्ड्स होते हैं एंड उ सब मेंही वहां पर शर्मन जोशी भी होता है जिसका मूवी के अंदर नाम अमर होता है और ये अमर यानी कि शर्मन जोशी संजय राजकोट का सबसे करीबी गार्ड होता है और संजय राजकोट भी अमर को अपने दोस्त की तरह ट्रीट करता है लेकिन दोस्तों अब इन सब के बाद ही हम ये देखते हैं कि संजय राजकोट का कुछ ना बिगाड़ पाने की वजह से इंस्पेक्टर प्रकाश को काफी गुस्सा आता है और अब क्योंकि वो पुलिस की पावर से संजय राजकोट का कुछ नहीं कर सकता था इसीलिए वो संजय राजकोट को मारने के लिए कई सारे गुंडे हार करता है एंड उन्हें संजय राजकोट को मारने के लिए छोड़ देता है अब इसी रात को हम ये देखते हैं कि संजय राजकोट को गांव की एक शादी में जाना पड़ता है और इस शादी में संजय अपनी वाइफ साई अमर और अपने बाकी गार्ड्स के साथ आया होता है लेकिन इसी टाइम पर पुलिस स्टेशन से एक दूसरे पुलिस वाले का सायश्री को फोन आता है जो कि चुपके से सायश्री को ये बता देता है कि संजय राजकोट की यानी कि राजा साहब की जान खतरे में है और आज रात को कई सारे गुंडे उस पर हमला करने आएंगे अब दोस्तों यहां पर हम ये देखते हैं कि सायश्री यानी कि संजय राजकोट की वाइफ अपने पति से बहुत प्यार करती है और इसीलिए जैसी उसे बात पता लगती है वैसी वो जल्दी से अमर को इफॉर्म करती है एंड उसे ये सारी बात बताती है लेकिन वो दोनों आपस में बात करते हैं कि उन दोनों में से कोई भी संजय को ये बात नहीं बताएगा क्योंकि अगर संजय को ये बात पता लगी तो वो गुंडों से खुद ही लड़ने चला जाएगा लेकिन अब इसके बाद ही संजय राजकोट यहां से से जाने की बात कहता है और इसीलिए वो अपनी वाइफ को अपनी में बिठा है एंड अमर से कहता है कि वो बाकी सारे गार्ड्स के साथ कुछ टाइम बाद आ जाए लेकिन यहां से निकलते टाइम ही जो सायश्री होती है वो अमर को मैसेज करके कह देती है कि वो लोग भी जल्दी से उनकी गाड़ी के पीछे आ जाए बट इतने में हम ये देखते हैं कि संजय राजकोट की कार को बहुत सारे गुंडे घेर लेते हैं लेकिन यहां पर संजय राजकोट इन सारे गुंडों का अकेले सामना करता है और वो अकेले उन सबको बीट कर देता है लेकिन दोस्तों अब इन सब के बाद ही हम ये देखते हैं कि पंजाब स्टेट के अंदर कई सारे टेररिस्ट मिलकर एक बहुत ही बड़ा ब्लास्ट कर देते हैं और उस ब्लास्ट के अंदर बहुत सारे लोग मारे जाते हैं बट इसके बाद ही हम महल के अंदर सायश को देख ते हैं जो कि अपना प्रेगनेंसी टेस्ट करती है जिसमें वो प्रेग्नेंट होती है और इसीलिए वो अपनी प्रेगनेंसी की बात बताने के लिए सीधा संजय के पास आती है लेकिन वो यह बात संजय को बताती कि उससे पहले ही हम ये देखते हैं कि महल के अंदर संजय से मिलने को आता है जो कि बहुत जोर-जोर से चिल्लाते हुए रो रहा होता है हमें ये पता लगता है कि संजय राजकोट जो कि राजकोट का राजा है उसके पास कई सारी बारूद की खदानें भी हैं और ये आदमी जो यहां पर रो रहा है वो उन्हीं खदानों का मैनेजर है संजय राजकोट अपने बारूद के खदान के मैनेजर से पूछता है कि आखिर का वो रो क्यों रहा है जिस पर वो मैनेजर संजय को ही बताता है कि असल में आज से कई दिन पहले कुछ आदमी उसके पास आए थे और उन्होंने खदान के अंदर से उस से 50 किलो बारूद मांगा था जिसके लिए उन्होंने उसे ₹ लाख दिए थे और उसी 2 लाख के लालच में उसने 50 किलो बारूद उन्हें बेच दिया था और यह बात उसने संजय राजकोट से छुपा कर रखी थी अब संजय जैसे इस बात को सुनता है वैसे ही वो ये समझ जाता है कि अभी कुछ टाइम पहले पंजाब में जो आतंकवादी ब्लास्ट हुआ है वो उन्हीं आतंकवादियों ने किया होगा जिन्होंने उसके मैनेजर से 50 किलो बारूद खरीदा था यह बात सुनकर संजय को बहुत गुस्सा आता है और इसीलिए वो अपने मैनेजर को चाटा मारता है एंड वो उससे कहता है कि उसने बारूद जैसी चीज को बिना उससे पूछे कैसे बेज दिया बट यह बोलने के बाद ही वो उसे घर भेज देता है एंड उससे कहता है कि अब उसे कोर्ट में गवाही देनी होगी और अपनी इस बात को मान मानना पड़ेगा जिसके लिए वो मैनेजर भी राजी हो जाता है लेकिन दोस्तों इसी टाइम पर सायश्री को फोन आता है और ये फोन पुलिस स्टेशन के उसी पुलिस वाले का होता है जिसने उसे पहले भी अलर्ट किया था और ये पुलिस वाला सायश्री को ये बताता है कि असल में ये पूरे ब्लास्ट वाली बात इंस्पेक्टर प्रकाश भी जान चुका है और इसलिए उसने कई सारे गुंडे भेजे हैं ताकि वो गुंडे मैनेजर को मार दे ताकि वो मैनेजर कोर्ट में गवाही ना दे पाए और अगर एक बार मैनेजर ही मर गया तो फिर ये बात साबित हो जाएगी कि पंजाब में होने वाले ब्लास्ट के पीछे और कोई नहीं बल्कि संजय राजकोट है क्योंकि दोस्तों एज ऑफ कोर्स जिस बारूद के खदान से 50 किलो बारूद बेचा गया था वो बारूद का खदान तो संजय राजकोट का ही था इसलिए जब बारूद का खदान संजय राजकोट का है तो फंसे का भी वही लेकिन यहां पर हम ये देखते हैं कि सायश्री जैसे इस बात को जानती है वैसे वो जल्दी से इस बात को संजय को बताती है जिसके बाद ही संजय जल्दी से मैनेजर को बचाने जाता है मैनेजर के पास पहुंचकर संजय देखता है कि उस पर कई सारे गुंडों ने हमला कर दिया है लेकिन संजय राजकोट अकेले उन सारे गुंडों को बीट कर देता है लेकिन दोस्तों संजय राजकोट को देखने के लिए पीछे से उसकी वाइफ सायश्री अमर और कई सारे लोग भी आते हैं बट वहां पहुंचकर वो लोग ये देखते हैं कि संजय ने सारे गुंडों को बीट कर दिया है लेकिन दोस्तों वहां पर उन गुंडों ने छोटा सा बम लगा दिया था और इसीलिए वो बम ब्लास्ट हो जाता है लेकिन अब क्योंकि वो लोग बम से काफी दूर होते हैं इसलिए बम की वजह से किसी की जान तो नहीं जाती लेकिन उस बम के छर्रे सायश्री की बॉडी में घुस जाते हैं जिस वजह से सायश्री काफी ज्यादा इंजर्ड हो जाती है और इसलिए उसे जल्दी से हॉस्पिटल ले जाया जाता है लेकिन हॉस्पिटल जाने से पहले वो अपने पति संजय से कहती है कि अभी के टाइम पर इस मैनेजर की जान खतरे में है और इसीलिए वो संजय से कहती है कि वो जल्दी से इसे लेकर किसी खुफिया जगह पर छुप जाए और जब दो दिन बाद कोर्ट्स खुलेंगे तो सीधा इसे कोर्ट लेकर जाए ताकि ये वहां पर अपनी गवाही दे सके क्योंकि इसकी गवाही देना बहुत जरूरी है और फिर ये बोलने के बाद ही साई श्री को हॉस्पिटल ले जाया जाता है लेकिन दोस्तों इन सारी चीजों के बीच सायश्री अपने पति को ये बता नहीं पाती है कि वो प्रेग्नेंट हो चुकी है और इसीलिए सायश्री संजय को मैसेज करके बताती है कि वो प्रेग्नेंट है लेकिन संजय के पास अपने फोन में मैसेज देखने का टाइम नहीं होता है क्योंकि वो जल्दी से मैनेजर को लेकर अपने खुफिया जगह पर जाता है और वहां पर उसे हिफाजत से रखता है एंड फिर दो दिन बाद जब कोर्ट्स ओपन होते हैं तब वो उसे ले जाकर सीधा मैनेजर की गवाही दिलवा है लेकिन इधर कोर्ट की प्रोसीडिंग के बाद ही हम लोग ये देखते हैं कि इसी टाइम पर हॉस्पिटल के अंदर ट्रीटमेंट के दौरान ही सायश्री की मौत हो जाती है और इसीलिए जैसे अपनी वाइफ की मरने की बात संजय को पता लगती है वैसे ही वो बहुत ज्यादा दुखी हो जाता है एंड वो भागता भागता हॉस्पिटल उसे देखने जाता है यहां पर आने के बाद ही डॉक्टर संजय को ये बताता है कि उसकी वाइफ सायश्री की ट्रीटमेंट के दौरान ही मौत हो गई है लेकिन उसकी जो वाइफ है यानी कि सायश्री वो एक ऑर्गन डोनर है यानी कि उसने मरने से पहले इस बात का विल दिया था कि उसके मरने के बाद उसके ऑर्गन्स को निकालकर किसी और को डोनेट कर दिया जाए और फिर इसीलिए यह बात बताकर डॉक्टर्स सायश्री की बॉडी का पोस्टमार्टम करके उसकी बॉडी से ऑर्गन्स निकाल लेते हैं एंड फिर बॉडी को संजय को सौंप देते हैं जिसके बाद ही संजय राजकोट अपनी वाइफ का क्रिया कर्म करता है लेकिन अपनी वाइफ के मरने की वजह से संजय राजकोट उसे बहुत ज्यादा याद करता है और वह अपने मन में फील करता है कि जब तक उसकी वाइफ जिंदा थी तब तक उसने अपनी वाइफ की कभी कदर नहीं की उसने अपनी वाइफ को कभी भी ढंग से टाइम नहीं दिया था ना ही वह अपनी वाइफ से ज्यादा बातें करता था और ना ही उसे ये तक पता था कि उसकी वाइफ को कौन सी मिठाइयां पसंद है एंड अब इसलिए इन सारी बातों को याद करके संजय सीधा डॉक्टर को फोन करता है एंड वो उस डॉक्टर से पूछता है कि उसकी वाइफ सायश्री ने कौन-कौन से ऑर्गन्स डोनेट किए हैं ये बात सुनकर डॉक्टर संजय को ही बताता है कि उसकी वाइफ ने मरने के बाद अपने लंग्स अपनी हार्ट और अपनी आंखें डोनेट की है और ये तीनों ही ऑर्गन्स हमने तीन लोगों को डोनेट कर दिए हैं लेकिन ये बात सुनकर संजय उससे डिटेल्स मांगता है एंड वो डॉक्टर से कहता है कि जिन भी तीन पेशेंट्स को उसकी वाइफ के ऑर्गन्स दिए गए हैं उसे उन तीनों की सारी डिटेल्स चाहिए और अब क्योंकि संजय राजकोट का राजा होता है इसीलिए डॉक्टर उसे सारी डिटेल तो दे देता है बट वो संजय से बोलता है कि वो इस इस बात को किसी को भी ना बताए जो बात सुनकर संजय भी डॉक्टर से कहता है कि वो इस बात को किसी को भी नहीं बताएगा लेकिन दोस्तों हम लोग ये नोटिस करते हैं कि जिस टाइम पर संजय डॉक्टर से फोन पर बात कर रहा होता है उसी टाइम पर संजय के महल की नौकरानी उसकी बातें सुन लेती है और इसीलिए नौकरानी को भी ये पता चल जाता है कि संजय राजकोट ने अपनी वाइफ के ऑर्गन्स के बारे में डिटेल्स निकलवाई है और अब वो उन लोगों से मिलने का प्लान कर रहा है अब दोस्तों इसके बाद ही संजय अपने महल से निकल जाता है और सीधा रेलवे स्टेशन चला जाता है ताकि वो यहां से ट्रेन पकड़ के सीधा मुंबई शहर जाए क्योंकि डॉक्टर से उसे पता लगा होता है कि उसकी वाइफ के तीनों ऑर्गन्स जिन्हें भी दिए गए हैं वो तीनों लोग मुंबई से बिलंग करते हैं लेकिन यहां पर जैसे ही वो रेलवे स्टेशन आता है वैसे ही हम ये देखते हैं कि उसके पीछे से अमर एंड उसके सारे गार्ड्स आ जाते हैं एंड वो सब भी संजय राजकोट से कहते हैं कि जहां भी वो जाएगा वो लोग उसके साथ ही जाएंगे और फिर इसीलिए वो सब मिलकर ट्रेन पकड़ते हैं एंड सीधा मुंबई आ जाते हैं मुंबई आकर वो लोग सबसे पहले एक छोटी सी बस्ती में जाते हैं और वहां पर आकर एक छोटे से बच्चे से मिलते हैं क्योंकि इस छोटे से बच्चे को साई श्री के लंग्स दिए गए हैं यहां पर इस बच्चे से मिलकर संजय को काफी खुशी होती है और फिर इसीलिए वो इस बच्चे के साथ-साथ इस पूरे मोहल्ले के बच्चों को खाना खिलाता है एंड उन्हें कपड़े दिलवा है लेकिन उसके बाद ही उसे पता लगता है कि असल में ये पूरा मोहल्ला बहुत ज्यादा पोल्यूटेड है और और इसीलिए यहां के पोलूशन की वजह से इस बच्चे के लंग्स खराब हुए थे एंड जब संजय यहां के रूट कॉस को पता करता है तब उसे पता लगता है कि एक्चुअल में यहां पर कुछ पैसे वाले लोग एक बड़ा सा मॉल बनाना चाहते हैं और मॉल बनाने के लिए उन्होंने यहां की ज्यादातर जमीन खरीद भी ली है लेकिन ये 10 एकड़ की छोटी सी जमीन जहां पर ये छोटा सा एरिया बना हुआ है उस जमीन को वो लोग अभी तक खरीद नहीं पाए हैं एंड इसीलिए यहां के सारे लोगों को भगाने के लिए वो लोग अपने आसपास की जमीनों पर कूड़ा जलाते हैं और यहां पर बहुत ज्यादा पोल्यूशन करते हैं जिस पोल्यूशन की वजह से यहां के लोग बीमार पड़ रहे हैं और फिर इसलिए इस बात को जानकर संजय डिसाइड करता है कि जो भी लोग यहां पर मॉल बनाना चाहते हैं वो उन्हें डबल पैसे देगा और उन लोगों से यहां की जमीन फ्री करवा लेगा ताकि यहां के लोग शांति से रह सके एंड फिर इसलिए यह सब करने के लिए जो ब्रोकर इस पूरी जमीन की डीलिंग के बीच में होता है वो उसे उसके कमीशन के डबल पैसे देता है एंड उससे यह जमीन छुड़वा लेता है लेकिन अब इसके बाद ही वो दूसरे आदमी के पास जाता है यानी कि उस दूसरे इंसान के पास जिसके पास उसकी वाइफ का दूसरा ऑर्गन होता है दूसरे घर में आने के बाद हमें ये पता लगता है कि ये घर असल में एक साउथ इंडियन फैमिली का घर है और इस घर की जो बहू है उसे साई श्री की आंखें दी गई है एंड दोस्तों यहां पर हमें पता लगता है कि इस घर की बहू और कोई नहीं बल्कि साउथ के एक्ट्रेस काजल अगरवाल है और इसे ही साई श्री की आंखें मिली है हालांकि यहां फैमिली से मिलने के बाद संजय को ये पता लगता है कि असल में इस फैमिली ने अपनी बहू की जो आंखों का ऑपरेशन करवाया है उसके लिए बहू को अपने गहने गिरवी रखने पड़े हैं और इसलिए यह बात जानकर संजय उस फैमिली की हेल्प करता है एंड वो गहने उन्हें वापस दिलवा देता है और फिर इसके बाद वो सीधा जाकर तीसरी फैमिली से मिलता है जिस फैमिली में एक 19-20 साल की लड़की को साई श्री का हर्ड दिया गया है क्योंकि उस लड़की का हर्ट काफी ज्यादा कमजोर था एंड इसलिए ऑपरेशन करके उसकी बॉडी में साई श्री का हर्ट डाला गया है और इसीलिए संजय यहां पर हॉस्पिटल में उससे मिलने आता है लेकिन य हॉस्पिटल आकर उसे पता लगता है कि जिस लड़की को उसकी वाइफ का हर्ट दिया गया है उसकी दिल की धड़कनें अभी भी काफी स्लो है एंड इसलिए डॉक्टर्स ने उसे ऑब्जर्वेशन में रखा है और इसीलिए यह देखकर संजय उसकी हेल्प करने का डिसाइड करता है जिसके लिए वो यूएस में एक बहुत ही बड़े डॉक्टर से डॉक्टर जॉन से कांटेक्ट करता है एंड उनकी वीडियो कॉल यहां के डॉक्टर से करवाता है जिसके बाद ही यूएस का वो डॉक्टर जॉन यहां के डॉक्टर्स को ये समझाता है कि वो लोग उस लड़की के हर्ट को कैसे ठीक कर सकते हैं जिसके बाद दोस्तों हम ये देखते हैं कि जिस लड़की को सायश्री का हर्ट दिया गया था उसकी कंडीशंस डॉक्टर द्वारा बिल्कुल सही कर दी जाती है और फिर इस तरह से जिन तीन लोगों को सायश्री के ऑर्गन्स दिए गए थे संजय राजकोट उन तीनों की लाइफ के प्रॉब्लम्स को दूर कर देता है और फिर यह सब करने के बाद वह मुंबई से वापस राजकोट जाने का प्लान करता है लेकिन ऐसा करने के लिए जब वो टैक्सी से जा रहा होता है तब उसी टाइम पर मुंबई पुलिस का एक ऑफिसर उसे टैक्सी प देख लेता है एंड वो जल्दी से इस बात को मिनिस्टर के बेटे अर्जुन को बता देता है जिसके बाद यह बात जानते ही अर्जुन जल्दी से यह बात अपने फादर को बताता है जिसके बाद ही अर्जुन का फादर यानी कि मिनिस्टर अर्जुन से कहता है कि वो जल्दी से गुंडों के साथ जाए एंड उसे जान से मार दें अब इसके बाद ही अर्जुन सीधा संजय राजकोट का पीछा करता है एंड उसे जान से मारने के लिए आता है जिसके बाद ही उन दोनों की गाड़ी की चेजिंग होती है संजय की टैक्सी का पीछा करने के दौरान ही हम ये देखते हैं कि मिनिस्टर का बेटा अर्जुन उस पर कई सारे कांच की बोतल के बम फेंकता है लेकिन इसी टाइम पर एक बम उसकी गाड़ी के अंदर गिर जाता है जिस वजह से गाड़ी में ब्लास्ट हो जाता है और इसीलिए गाड़ी के अंदर अर्जुन और उसके सारे साथी मारे जाते हैं अब ये बात जैसे ही मिनिस्टर को पता लगती है कि उसका बेटा मारा जा चुका है वैसे ही वोह गुस्से में आग बबूला हो जाता है और अब क्योंकि उसे ऐसा लगता है कि संजय राजकोट की वजह से उसका बेटा अर्जुन मारा गया है इसीलिए वो संजय राजकोट से बदला लेने का डिसाइड करता है लेकिन वो पहले यह जानने की कोशिश करता है कि आखिरकार संजय राजकोट गुजरात के राजकोट से मुंबई क्यों आया था और यह पता करने के लिए वो पुलिस फोर्स को उसके महल के अंदर भेजते हैं जहां पर पहुंचने के बाद ही उसके सारे नौकरों को डरा धमका के पुलिस को ये पता लग जाता है कि संजय राजकोट की बीवी सायश्री ने मरने के बाद अपने तीन ऑर्गन्स को डोनेट किया था और जिन तीन लोगों को ऑर्गन्स दिए गए थे उन तीनों से मिलने के लिए संजय राजकोट मुंबई आया था और अब ये बात पता लगती है मिनिस्टर ये फैसला करता है कि अब वो उन तीनों लोगों को मार देगा जिन तीनों लोगों को उसकी वाइफ के ऑर्गन्स मिले हैं अब ऐसा करने के लिए वो सबसे पहले संजय को फोन करता है और उसे कहता है कि उसे पता चल चुका है कि वो मुंबई इसीलिए आया था ताकि वो उन तीनों लोगों से मिल सके जिन तीन लोगों को उसकी मरी ई वाइफ के ऑर्गन्स मिले हैं लेकिन अब क्योंकि उस संजय की वजह से उसका बेटा मरा है इसीलिए बदला लेने के लिए अब वो उन तीनों लोगों को मार देगा जिन तीन लोगों की बॉडी में उसकी वाइफ के ऑर्गन्स हैं ये बात सुनकर संजय मिनिस्टर को ये समझाता है बए कि उसके बेटे के साथ जो भी हुआ वो एक एक्सीडेंट था उसके बेटे को मारने में उसका कोई हाथ नहीं है और इसीलिए मिनिस्टर जो करना चाहता है वो वैसा बिल्कुल भी ना करें लेकिन हम ये देखते हैं कि मिनिस्टर संजय की बात नहीं सुनता है एंड वो संजय से कहता है कि वो उन तीन लोगों को मार के ही रहेगा जो बात सुनकर संजय को भी गुस्सा आता है एंड वो मिनिस्टर से कहता है कि मिनिस्टर जो चाहे वो कर ले वो भी उन तीनों लोगों को मरने नहीं देगा और अब वैसे तो वो मुंबई से राजकोट के लिए निकल चुका है लेकिन अब वो मिनिस्टर के लिए मुंबई वापस आ रहा है लेकिन दोस्तों जब संजय राजकोट मुंबई वापस आता है तब वो ये देखता है कि जिन तीनों की लाइफ को वो सुधार कर आया था उनके साथ फिर से प्रॉब्लम्स आ रही हैं जैसे कि सबसे पहले वो छोटा बच्चा जिसे सायश्री ने अपने लंग्स दिए थे उसकी गंदगी में सांस लेने की वजह से तबीयत खराब हो चुकी है और इसीलिए उसे फिर से हॉस्पिटल के अंदर भर्ती किया गया है और इसीलिए इस बात को जानते ही संजय राजकोट उस बच्चे को जल्दी से बड़े से हॉस्पिटल में भर्ती करवाता है एंड वहां पर उसका इलाज करवाता है और उसके इलाज को पूरा करने के लिए वो डॉक्टर जॉन को यूएस से बुलाता है लेकिन इसी टाइम पर दूसरी तरफ हम ये देखते हैं कि मिनिस्टर उन तीन लोगों का पता कर लेता है और अपने सारे गुंडों को उन तीनों को मारने के लिए भेजता है लेकिन सबसे पहले जब वो लोग बच्चे को मारने बस्ती में जाते हैं तब उन्हें वहां पर बच्चा नहीं मिलता है और इसी तरह से जब वो बाकी दोनों को भी मारने जाते हैं तब वो लोग भी किसी तरह से गुंडे से बच जाते हैं और सीधा संजय राजकोट से कांटेक्ट कर लेते हैं जो सुनकर संजय राजकोट उन दोनों को और उनकी पूरी फैमिली को उसी हॉस्पिटल में बुला लेता है जिस हॉस्पिटल में वो बच्चे का इलाज करवा रहा होता है और फिर इस तरह से वो तीनों लोग जिन्हें सायश्री ने अपनी आंखें अपने हार्ट और अपने दोनों लंग्स दिए थे वो तीनों लोग हॉस्पिटल के अंदर होते हैं बट हॉस्पिटल के बारे में पता लगता है मिनिस्टर जल्दी से अपने सारे गुंडों को बुलाता है और सारे गुंडों को हॉस्पिटल भेज देता है ताकि सारे गुंडे उन तीनों लोगों को मार दें और यहां पर हम ये देखते हैं कि इन गुंडों की जो संख्या होती है वो 200 से भी ज्यादा होती है लेकिन जैसे ये सारे गुंडे हॉस्पिटल के गेट से एंटर करते हैं वैसे ही संजय राजकोट अपने सारे गार्ड्स के साथ मिलकर इन इन सारे गुंडों से फाइट करता है और एक-एक करके इन सारे गुंडों को ढेर कर देता है इसी टाइम पर मिनिस्टर ने उस डॉक्टर जॉन को भी इंडिया पहुंचने से रोक दिया होता है क्योंकि जैसे ही वो फ्लाइट लैंड करके मुंबई एयरपोर्ट पर पहुंचा होता है वैसे ही मिनिस्टर ने पावर का यूज़ करके डॉक्टर जॉन को वहां पर डिटेन करवा दिया होता है लेकिन ये बात जानने के बाद ही संजय राजकोट सीधा दिल्ली में इंडियन पीएम को फोन करता है और उनकी अप्रोच लगा के डॉक्टर जॉन को एयरपोर्ट से बाहर निकलवा लेता है जिसके बाद डॉक्टर जॉन भी जल्दी से हॉस्पिटल आता है एंड बच्चे का इलाज कर देता है अब ये सब करने के बाद ही संजय राजकोट उन तीनों लोगों को तो बचा लेता है जिन तीन लोगों के पास उसकी वाइफ के ओरियंस हैं लेकिन ये सब देखने की वजह से उसे मिनिस्टर पर बहुत ज्यादा गुस्सा आता है और इसीलिए वो ये डिसाइड करता है कि अगर उसे इस दुश्मनी को खत्म करना है और इन तीनों लोगों की जान बचानी है तो अब उसे मिनिस्टर को रास्ते से हटाना पड़ेगा और फिर इसीलिए यह तय करने के बाद ही वो सीधा उस मिनिस्टर के घर जाता है एंड उसके सारे गार्ड्स को पीट करके उसके रूम में घुस जाता है और फिर वो मिनिस्टर को पंच मार मार के उसे जान से मार देता है जिसके बाद उसके दुश्मन के खत्म होने के साथ ही उसकी दुश्मनी भी खत्म हो जाती है लेकिन ये सब करने के बाद जब संजय तीनों लोगों से मिलने वापस हॉस्पिटल में आता है तब वहां पर इंस्पेक्टर प्रकाश अपने कई सारे पुलिस वालों के साथ आता है एंड वो संजय राजकोट को अरेस्ट कर लेता है क्योंकि संजय राजकोट के ऊपर मि को जान से मारने का आरोप होता है और अभी हॉस्पिटल के अंदर जो वायलेंस हुई थी उसमें भी संजय राजकोट को दोषी पाया जाता है लेकिन जब इंस्पेक्टर प्रकाश उसे अरेस्ट करके यहां से ले जा रहा होता है तभी उसके पास दूसरे पुलिस वाले आते हैं जो कि इंस्पेक्टर प्रकाश से कहते हैं कि वो जल्दी से संजय राजकोट को रिलीज कर दें क्योंकि संजय राजकोट को रिलीज करने के कोर्ट से ऑर्डर्स आए हैं और इसीलिए वो लोग संजय को अरेस्ट नहीं कर सकते हैं और रही बात संजय राजकोट पर लगे आरोपों की तो जब उनकी कोर्ट में पेशी होगी तब वो उन आरोपों को खुद ही फेस कर लेंगे और फिर दोस्तों इसके साथ ही ये पूरी मूवी एंड हो जाती है तो दोस्तों ये थी वीडियो सिकंदर मूवी की स्टोरी के ऊपर अगर आपको इस मूवी की स्टोरी या फिर हमारी वीडियो पसंद आई हो तो आप इस वीडियो को लाइक जरूर करना मैं आपसे मिलता हूं ऐसी किसी और बेहतरीन वीडियो में तब तक के लिए गुड बाय
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